श्रावस्ती: जिलाधिकारी ने जनता दर्शन के दौरान सुनी जनसमस्याएं

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फरियादियों की समस्याओं का किया जाए त्वरित निराकरण-जिलाधिकारी
श्रावस्ती। जिलाधिकारी कृतिका शर्मा ने प्रतिदिन की तरह बुधवार को भी कलेक्ट्रेट स्थित अपने कक्ष में आयोजित जनता दर्शन में फरियादियों की समस्याओं को सुना और उनकी समस्याओं को सुनकर निराकरण हेतु सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देशित किया। इस दौरान जिलाधिकारी को 10 शिकायतें प्राप्त हुई, जो कि राजस्व विभाग, दिव्यांगजन, पूर्ति, ग्राम्य विकास विभाग एवं अन्य विभाग से सम्बन्धित थी, इन शिकायतों को एक सप्ताह में निराकरण कर रिपोर्ट प्रेषित करने हेतु सम्बन्धित विभागों के अधिकारियों को निर्देशित किया। उन्होने कहा कि जनशिकायतों का गुणवत्तापूर्ण एवं त्वरित निस्तारण शासन की सर्वाेच्च प्राथमिकता है। इसलिए जनशिकायतों के निस्तारण में शिथिलता कदापि क्षम्य नही की जाएगी। इसलिए जनशिकायतों के निस्तारण में समयबद्धता का विशेष ध्यान रखा जाए। उत्तर प्रदेश शासन द्वारा जनसुनवाई, आई0जी0आर0एस0, सीएम हेल्पलाइन, तहसील व थाना दिवस हेतु समय-समय पर विस्तृत निर्देश दिये गये है, जिनका शत-प्रतिशत अनुपालन सुनिश्चित करेंआई0जी0आर0एस0 से प्राप्त शिकायतों का त्वरित निस्तारण किया जाए। उन्होने यह भी बताया कि मा0 मुख्यमंत्री जी द्वारा सीएम डैशबोर्ड पर प्रतिमाह जन शिकायतों के निस्तारण की समीक्षा की जा रही है। इसलिए सभी सम्बन्धित विभागीय अधिकारी जन शिकायतों के निस्तारण में विशेष रूचि लेकर जनपद की रैंकिंग प्रथम स्थान पर लाने का प्रयास करें।उन्होंने कहा कि जनता दर्शन में आये हुए फरियादियों की समस्याओं को मानवीय दृष्टिकोण से सुना जाए तथा एक सप्ताह में समस्याओं का निस्तारण प्रत्येक दशा में सुनिश्चित किया जाए। उन्होने निर्देश दिया कि समस्त अधिकारी मौके पर स्वयं जाकर निरीक्षण करें और स्पष्ट आख्या तैयार कर फोटोग्राफ सहित अपलोड करें। सभी अधिकारी कार्यालय में समस्त कार्यदिवसों में प्रातः 10 बजे से 12 बजे तक स्वयं जनसुनवाई करें एवं उनकी समस्याओं का समय सीमा के अन्दर निस्तारण कराना भी सुनिश्चित करें। कोई भी विभाग डिफाल्टर की सूची में न रहने पाये, इसका विशेष ध्यान रखा जाए।जनसुनवाई के समय अधीनस्थ अधिकारियों/कर्मचारियों के लापरवाही की कोई शिकायतें प्राप्त होती हैं, तो कड़ी से कड़ी कार्यवाही सुनिश्चित की जाए, जिससे कि प्रदेश में मा0 मुख्यमंत्री जी के भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति को भरपूर शक्ति से लागू किया जा सके।