रिपोर्ट:हेमंत कुमार दुबे।
महाराजगंज।निचलौल कस्बे में बिजली विभाग की गंभीर लापरवाही के चलते एक बड़ा हादसा टल गया, हालांकि एक पशु की जान चली गई। निचलौल-चिऊटहा मार्ग पर स्थित कृष्णा मोहल्ले में लगा एक लोहे का बिजली का पोल रविवार सुबह पूरी तरह से विद्युतमय हो गया। गनीमत यह रही कि उस समय किसी बच्चे, व्यक्ति, या महिला ने उस पोल को नहीं छुआ।
*दुखद घटना: भैंस की मौके पर मौत।*
सुबह तड़के जब एक भैंस वहां आई और उसने अनजाने में इस करंट वाले लोहे के पोल को स्पर्श किया, तो वह तुरंत बिजली की चपेट में आ गई और मौके पर ही उसकी मृत्यु हो गई।
*विभाग की संवेदनहीनता और टाल-मटोल।*
इस दुखद घटना को देखने के बाद, कृष्णा मोहल्ले के लोगों ने तत्काल निचलौल बिजली विभाग से संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन दुर्भाग्यपूर्ण रूप से विभाग के किसी भी व्यक्ति ने मौके पर फोन नहीं उठाया।विवश होकर, स्थानीय निवासियों ने सीधे जिलाधिकारी को इस गंभीर खतरे की सूचना दी। जिलाधिकारी के हस्तक्षेप के बाद, निचलौल बिजली विभाग हरकत में आया और एस.डी.ओ. (SDO) ने सूचना देने वाले व्यक्ति से संपर्क साधा।
*खानापूर्ति कर लौटे लाइनमैन।*
सूचना मिलने के बाद, विभाग ने मात्र खानापूर्ति करने के लिए कुछ लाइनमैनों को मौके पर भेजा। लाइनमैनों ने वहां थोड़ी-सी झाड़-सफाई की, कुछ बिजली के तारों को काटा, और वापस लौट गए। यह कार्रवाई समस्या के स्थायी समाधान से कोसों दूर थी और केवल कागजी कार्यवाही पूरी करने जैसी थी।
*मोहल्लेवालों की पुरानी समस्या: बीच रास्ते में अनावश्यक लोहे के पोल।*
मोहल्ले के लोगों ने बताया कि जहां यह घटना हुई है, वहां कुछ वर्ष पहले एक ट्रांसफार्मर लगा हुआ था, जिसके लिए डबल पोल लगाए गए थे। वर्तमान में ट्रांसफार्मर हटा दिया गया है, लेकिन अनावश्यक लोहे के पोल अब भी बीच रास्ते में खड़े हैं। इन पोलों के कारण मोहल्ले के निवासियों को आवागमन में भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। लोगों की मांग है कि इन अनावश्यक और खतरनाक पोलों को तत्काल हटाया जाए।
*भविष्य के बड़े खतरों की अनदेखी।*
स्थानीय निवासियों के अनुसार, इन लोहे के पोलों में कई महीनों से बिजली उतरने की समस्या है, जिसकी सूचना विभाग को कई बार दी जा चुकी है। इसके बावजूद, लापरवाह निचलौल बिजली विभाग के अधिकारियों ने इस समस्या पर कोई ध्यान नहीं दिया।सवाल यह उठता है कि क्या मौके पर केवल टालमटोल (खानापूर्ति) करके भविष्य में होने वाली किसी मानव जीवन से जुड़ी बड़ी दुर्घटना को रोका जा सकता है। विभाग की यह संवेदनहीनता दर्शाती है कि अधिकारियों को अपनी जिम्मेदारी के प्रति कोई सरोकार नहीं है, जबकि यह समस्या कभी भी जानलेवा साबित हो सकती है।
स्थानीय लोगों ने जिलाधिकारी से मांग की है कि इस गंभीर लापरवाही का संज्ञान लेते हुए, न केवल दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की जाए, बल्कि जल्द से जल्द खतरनाक और बीच रास्ते में खड़े इन अनावश्यक लोहे के पोलों को भी हटाकर मोहल्लेवासियों को राहत दी जाए।