डॉ. अम्बेडकर परिनिर्वाण दिवस पर कैंडल मार्च:उतरौला नगर में अनुयायियों ने प्रतिमा पर माल्यार्पण कर दी श्रद्धांजलि

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बाबा साहेब डॉ. भीमराव अम्बेडकर के परिनिर्वाण दिवस पर शनिवार देर शाम उतरौला नगर में कैंडल मार्च निकाला गया। यह मार्च बाबा साहेब के अनुयायियों द्वारा आयोजित किया गया था। अनुयायी हाथों में मोमबत्तियाँ लिए “जय भीम” के नारों के साथ अम्बेडकर चौराहे पहुंचे। चौराहे पर अनुयायियों ने बाबा साहेब की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। उन्होंने नमन करते हुए दो मिनट का मौन रखा और श्रद्धांजलि अर्पित की। इस अवसर पर बाबा साहेब भीमराव अम्बेडकर विचारक ओमप्रकाश गौतम ने अपने विचार व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि बाबा साहेब ने देश की लोकतांत्रिक नींव को मजबूत करने के लिए अपना पूरा जीवन संघर्ष को समर्पित किया। गौतम ने जोर दिया कि आज संविधान की मूल भावना की रक्षा करना हर नागरिक की जिम्मेदारी है। प्रहलाद बौद्ध ने कहा कि अम्बेडकर को केवल एक नेता के रूप में नहीं, बल्कि मानवता के हित में कार्य करने वाले महामानव के रूप में याद किया जाना चाहिए। उन्होंने शिक्षा और सामाजिक बराबरी के संदेश को जन-जन तक पहुँचाने का आह्वान किया। राजू भारती ने कहा कि बाबा साहेब ने जिस सामाजिक न्याय की बात कही थी, उसे व्यवहार में लाना समय की मांग है। उन्होंने बताया कि समता, स्वतंत्रता और बंधुत्व उनका मूल संदेश था, जिसे अपनाकर ही सच्ची श्रद्धांजलि दी जा सकती है। इस कार्यक्रम में जोगीराम अकेला, प्रधान दिलीप कुमार, आरबी आजाद, जितेंद्र लाल शेखर, उदयभान गौतम, प्रसाद, कमलेश राव, भगवत राम बौद्ध, बसपा विधानसभा अध्यक्ष आकाश सुरजीत, ततम सिंघानिया, अशोक सिंघानिया, अरविंद सोनी और अनुज सहित कई अन्य लोग शामिल रहे।
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