बलरामपुर जनपद के हरैया सतघरवा विकासखंड स्थित ग्राम पंचायत बिनोहनी के मजरा दोदरा में संचालित आंगनबाड़ी केंद्र की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। ग्रामीणों ने केंद्र के अनियमित संचालन और पोषण आहार के समय पर वितरण न होने का आरोप लगाया है। ग्रामीणों का आरोप है कि आंगनबाड़ी केंद्र अक्सर बंद रहता है। इसके कारण छोटे बच्चों, गर्भवती और धात्री माताओं को सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं मिल पा रहा है। बच्चों को मिलने वाला पौष्टिक आहार, गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को दी जाने वाली पोषण सामग्री और स्वास्थ्य संबंधी सेवाएं कागजों तक ही सीमित रह गई हैं। स्थानीय महिलाओं ने बताया कि केंद्र खुलने की तय समय-सारिणी का पालन नहीं होता। कभी-कभार केंद्र खुलने पर केवल बच्चों की उपस्थिति दर्ज कर औपचारिकता पूरी कर ली जाती है, लेकिन पोषण आहार का वितरण नहीं किया जाता। इस लापरवाही से क्षेत्र में कुपोषण का खतरा बढ़ रहा है। ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि जिम्मेदार कर्मचारियों की लापरवाही के कारण सरकारी योजनाओं का लाभ वास्तविक पात्रों तक नहीं पहुंच पा रहा है। इसका सीधा असर बच्चों के शारीरिक एवं मानसिक विकास पर पड़ रहा है, साथ ही गर्भवती और धात्री महिलाओं को पोषण के अभाव में स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। ग्रामीणों ने बताया कि इस संबंध में ग्राम स्तर से लेकर विभागीय अधिकारियों तक कई बार शिकायतें की गई हैं, लेकिन स्थिति में कोई सुधार नहीं हुआ। अब उन्होंने जिला प्रशासन और बाल विकास परियोजना अधिकारी से निष्पक्ष जांच कराने, दोषी कर्मचारियों पर सख्त कार्रवाई करने और आंगनबाड़ी केंद्र को नियमित रूप से संचालित कराने की मांग की है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि शीघ्र कार्रवाई नहीं की गई तो वे आंदोलन करने को मजबूर होंगे। इस मामले में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने बताया कि जिन लाभार्थियों का ई-केवाईसी हो गया है, उन्हें राशन दिया गया है, जबकि जिनका ई-केवाईसी नहीं हुआ है, उन्हें राशन नहीं मिला है। इस संबंध में बाल विकास परियोजना अधिकारी शिवकुमार ने बताया कि आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों के खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी किया जाएगा और उनसे स्पष्टीकरण मांगा जाएगा कि राशन वितरण क्यों नहीं किया गया। जांच के बाद दोषी पाए जाने पर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।
दोदरा आंगनबाड़ी केंद्र बेपटरी, पोषण आहार वितरण में लापरवाही:बच्चे-महिलाएं वंचित, ग्रामीणों ने की जांच और कार्रवाई की मांग
बलरामपुर जनपद के हरैया सतघरवा विकासखंड स्थित ग्राम पंचायत बिनोहनी के मजरा दोदरा में संचालित आंगनबाड़ी केंद्र की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। ग्रामीणों ने केंद्र के अनियमित संचालन और पोषण आहार के समय पर वितरण न होने का आरोप लगाया है। ग्रामीणों का आरोप है कि आंगनबाड़ी केंद्र अक्सर बंद रहता है। इसके कारण छोटे बच्चों, गर्भवती और धात्री माताओं को सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं मिल पा रहा है। बच्चों को मिलने वाला पौष्टिक आहार, गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को दी जाने वाली पोषण सामग्री और स्वास्थ्य संबंधी सेवाएं कागजों तक ही सीमित रह गई हैं। स्थानीय महिलाओं ने बताया कि केंद्र खुलने की तय समय-सारिणी का पालन नहीं होता। कभी-कभार केंद्र खुलने पर केवल बच्चों की उपस्थिति दर्ज कर औपचारिकता पूरी कर ली जाती है, लेकिन पोषण आहार का वितरण नहीं किया जाता। इस लापरवाही से क्षेत्र में कुपोषण का खतरा बढ़ रहा है। ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि जिम्मेदार कर्मचारियों की लापरवाही के कारण सरकारी योजनाओं का लाभ वास्तविक पात्रों तक नहीं पहुंच पा रहा है। इसका सीधा असर बच्चों के शारीरिक एवं मानसिक विकास पर पड़ रहा है, साथ ही गर्भवती और धात्री महिलाओं को पोषण के अभाव में स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। ग्रामीणों ने बताया कि इस संबंध में ग्राम स्तर से लेकर विभागीय अधिकारियों तक कई बार शिकायतें की गई हैं, लेकिन स्थिति में कोई सुधार नहीं हुआ। अब उन्होंने जिला प्रशासन और बाल विकास परियोजना अधिकारी से निष्पक्ष जांच कराने, दोषी कर्मचारियों पर सख्त कार्रवाई करने और आंगनबाड़ी केंद्र को नियमित रूप से संचालित कराने की मांग की है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि शीघ्र कार्रवाई नहीं की गई तो वे आंदोलन करने को मजबूर होंगे। इस मामले में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने बताया कि जिन लाभार्थियों का ई-केवाईसी हो गया है, उन्हें राशन दिया गया है, जबकि जिनका ई-केवाईसी नहीं हुआ है, उन्हें राशन नहीं मिला है। इस संबंध में बाल विकास परियोजना अधिकारी शिवकुमार ने बताया कि आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों के खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी किया जाएगा और उनसे स्पष्टीकरण मांगा जाएगा कि राशन वितरण क्यों नहीं किया गया। जांच के बाद दोषी पाए जाने पर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।








































