इटवा। नगर पंचायत बिस्कोहर स्थित सुनील लिटिल रोज विद्यालय के विद्यार्थी हाल ही में एक दिवसीय शैक्षणिक भ्रमण पर लखनऊ गए। इस अनुभव आधारित शिक्षा यात्रा का उद्देश्य बच्चों के आत्मविश्वास, व्यावहारिक ज्ञान और वैज्ञानिक दृष्टिकोण को विकसित करना था। देखें 6 तस्वीर… भ्रमण के दौरान, विद्यार्थियों ने आंचलिक विज्ञान नगरी का दौरा किया, जहाँ उन्होंने विभिन्न वैज्ञानिक मॉडलों का अवलोकन किया। फिश गैलरी में उन्होंने आकर्षक और दुर्लभ मछलियों को देखकर जल-जीवों की विविधता को समझा। इसके अतिरिक्त, जंगल बुक का 3D शो देखकर प्रकृति की दुनिया का सजीव अनुभव प्राप्त किया, जिससे उनमें जिज्ञासा और तार्किक सोच बढ़ी। इसके बाद, बच्चों ने नक्षत्रशाला में ग्रह और अंतरिक्ष के 3D शो के माध्यम से ब्रह्मांड के रहस्यों को जाना। यह अनुभव उनके लिए मनोरंजक और ज्ञानवर्धक रहा। प्रीहिस्टोरिक पार्क में, उन्होंने गैंडा, शेर, तेंदुआ, दरियाई घोड़ा, विभिन्न प्रकार के सर्प और रंग-बिरंगी तितलियों जैसे अनेक जीव-जंतुओं का अवलोकन किया, जिससे उनमें प्रकृति प्रेम की भावना जागृत हुई। विद्यार्थियों ने क्लॉक टावर की रंग-बिरंगी रोशनियों और मेले के आकर्षण के साथ-साथ आसपास स्थित ऐतिहासिक इमारतों का भी अवलोकन किया। इससे उन्हें सांस्कृतिक धरोहर, पुरातात्त्विक महत्व और स्थापत्य कला की समझ विकसित करने का अवसर मिला। उन्होंने हनुमंत धाम मंदिर में दर्शन कर आध्यात्मिक शांति का अनुभव किया और वॉटर लाइट फाउंटेन के आधुनिक दृश्य से तकनीक के नए आयामों से परिचित हुए। इस शैक्षणिक यात्रा का शुभारम्भ डॉ. जुबेर और राधेश्याम यादव ने किया। विद्यालय के संरक्षक प्रभात जायसवाल के मार्गदर्शन तथा प्रबंधक आस्था जायसवाल के नेतृत्व में यह भ्रमण सफलतापूर्वक संपन्न हुआ। इस दौरान शिक्षक-शिक्षिकाएं सूर्यांश कसौधन, आराधना, रोशनी, कामनी, आरती और अनुपमा भी उपस्थित रहीं।
इटवा के स्कूली बच्चों ने किया लखनऊ का शैक्षणिक भ्रमण:विज्ञान नगरी, नक्षत्रशाला और ऐतिहासिक स्थलों का किया अवलोकन
इटवा। नगर पंचायत बिस्कोहर स्थित सुनील लिटिल रोज विद्यालय के विद्यार्थी हाल ही में एक दिवसीय शैक्षणिक भ्रमण पर लखनऊ गए। इस अनुभव आधारित शिक्षा यात्रा का उद्देश्य बच्चों के आत्मविश्वास, व्यावहारिक ज्ञान और वैज्ञानिक दृष्टिकोण को विकसित करना था। देखें 6 तस्वीर… भ्रमण के दौरान, विद्यार्थियों ने आंचलिक विज्ञान नगरी का दौरा किया, जहाँ उन्होंने विभिन्न वैज्ञानिक मॉडलों का अवलोकन किया। फिश गैलरी में उन्होंने आकर्षक और दुर्लभ मछलियों को देखकर जल-जीवों की विविधता को समझा। इसके अतिरिक्त, जंगल बुक का 3D शो देखकर प्रकृति की दुनिया का सजीव अनुभव प्राप्त किया, जिससे उनमें जिज्ञासा और तार्किक सोच बढ़ी। इसके बाद, बच्चों ने नक्षत्रशाला में ग्रह और अंतरिक्ष के 3D शो के माध्यम से ब्रह्मांड के रहस्यों को जाना। यह अनुभव उनके लिए मनोरंजक और ज्ञानवर्धक रहा। प्रीहिस्टोरिक पार्क में, उन्होंने गैंडा, शेर, तेंदुआ, दरियाई घोड़ा, विभिन्न प्रकार के सर्प और रंग-बिरंगी तितलियों जैसे अनेक जीव-जंतुओं का अवलोकन किया, जिससे उनमें प्रकृति प्रेम की भावना जागृत हुई। विद्यार्थियों ने क्लॉक टावर की रंग-बिरंगी रोशनियों और मेले के आकर्षण के साथ-साथ आसपास स्थित ऐतिहासिक इमारतों का भी अवलोकन किया। इससे उन्हें सांस्कृतिक धरोहर, पुरातात्त्विक महत्व और स्थापत्य कला की समझ विकसित करने का अवसर मिला। उन्होंने हनुमंत धाम मंदिर में दर्शन कर आध्यात्मिक शांति का अनुभव किया और वॉटर लाइट फाउंटेन के आधुनिक दृश्य से तकनीक के नए आयामों से परिचित हुए। इस शैक्षणिक यात्रा का शुभारम्भ डॉ. जुबेर और राधेश्याम यादव ने किया। विद्यालय के संरक्षक प्रभात जायसवाल के मार्गदर्शन तथा प्रबंधक आस्था जायसवाल के नेतृत्व में यह भ्रमण सफलतापूर्वक संपन्न हुआ। इस दौरान शिक्षक-शिक्षिकाएं सूर्यांश कसौधन, आराधना, रोशनी, कामनी, आरती और अनुपमा भी उपस्थित रहीं।









































